वायस ऑफ पानीपत (देवेंद्र शर्मा)- पुराने वाहनों से बढ़ते प्रदुषण स्तर को देखते हुए इस तरह की सख्त कार्रवाई अमल में लाई जा रही है। NCR क्षेत्र में शामिल हरियाणा के 14 जिलों में करीब 6 लाख वाहनों का रजिस्ट्रेशन खतरें में हैं। इन वाहन मालिकों के पास केवल तीन महीने का हीं समय शेष है। या तो अपने पुराने वाहनों को एनसीआर क्षेत्र के बाहर बेच दें या शिफ्ट करा लें। इस समयावधि के बाद यदि एनसीआर में सड़कों पर वाहन चलते हुए मिलें तो चेकिंग करने वाली टीम इन वाहनों को सीधा जब्त कर लेगी।
परिवहन विभाग द्वारा जारी आदेशों में कहा गया है कि एनसीआर क्षेत्र में जिन लोगों के पास ऐसे वाहन है , उन्हें 3 मार्च 2022 से पहले बेचकर या बाहरी जिलों में ट्रांसफर करवा कर शिफ्ट कर लें. इसके लिए 3 दिसंबर से 3 मार्च तक का समय रखा गया है. इसके बाद वाहन स्वतः वि-पंजीकरण हो जाएंगे। वाहन मालिक इन वाहनों को हस्तांतरित करने/बेचने के योग्य नहीं होंगे और ये कबाड़ हो जाएंगे। आदेशों में कहा गया है कि 3 मार्च के बाद ऐसे वाहनों को किसी भी हालात में एनसीआर क्षेत्र में चलाने की अनुमति नहीं दी जाएंगी। यदि ऐसे वाहन सड़कों पर चलते मिलें तो इन्हें सीधे जब्त कर लिया जाएगा।
आपको बता दें कि पुराने वाहनों के डि-रजिस्ट्रेशन का खतरा एनसीआर में शामिल हरियाणा के 14 जिलों में हैं। इनमें गुरुग्राम, फरीदाबाद, पलवल,मेवात, महेन्द्रगढ़, रेवाड़ी, भिवानी, चरखी दादरी, झज्जर, रोहतक, सोनीपत, पानीपत, करनाल और जींद शामिल हैं। एनसीआर क्षेत्र में शामिल इन जिलों के लिए 10 साल पुराने डीजल और 15 साल पुराने पेट्रोल वाहनों के चलन पर रोक का यह कोई पहला आदेश नहीं है। लेकिन जिस प्रकार की चेतावनी परिवहन आयुक्त की ओर से जारी की गई है , उसे आखिरी जरुर माना जा सकता है।
TEAM VOICE OF PANIPAT