12.1 C
Panipat
December 8, 2024
Voice Of Panipat
HaryanaPanipat

जिले में हुई राहगिरी का सच आया सामने, हुआ इतना बड़ा घोटाला

वायस ऑफ पानीपत (कुलवन्त सिंह)
सीएम अनाउंसमेंट के तहत जिले में पिछले 2 सालों से जारी राहगिरी कार्यक्रम में जिला पुलिस ने चौंकाने वाली सूचना दी है,,,डीजीपी कार्यालय से एसपी पानीपत को राहगिरी कार्यक्रम के लिए 6.40 लाख रूपये भेजे गए जबकि एसपी पानीपत कार्यालय में केवल 2.30 लाख रूपये की राशि मिलना बताई जा रही है,,,इससे सवाल ये उठता है कि बाकी बचे हुए तो पैसे कहा गए,,
बता दे कि जिला प्रशासन 16 कार्यक्रम कर चुका है लेकिन जिला पुलिस को नहीं पता कि इस कार्यक्रम का उद्देश्य व औचित्य क्या है? ना ही ये पता है कि इसका संचालन कौन कर रहा है? सबसे दिलचस्प है कि हर कार्यक्रम में डीजे, स्टेज, माईक, जनरेटर, डांस कार्यक्रम, बैंड, ढोल, पेंटिंग, नुक्कड़ नाटक आदि कार्यक्रम होते हैं,,, लेकिन इन पर प्रशासन का एक रूपया भी खर्च नहीं हुआ तो फिर ये खर्चा करता कौन है,,,
*आरटीआई एक्टिविस्ट पीपी कपूर ने बताया कि पिछले 2सालों से जिला प्रशासन द्वारा राहगिरी कार्यक्रम किए जा रहे हैं। इसमें डीसी, एसपी सहित जिला प्रशासन के तमाम प्रमुख अधिकारी शामिल होते हैं। इसी बारे में उन्होंने 23 अप्रैल 2019 को एसपी कार्यालय में 11 सूत्री आरटीआई लगाई थी। राज्य सूचना अधिकारी एवं डीएसपी (मुख्यालय) ने पहले तो भ्रामक व गोलमोल जवाब थमाकर टरकाना चाहा।
लेकिन राज्य सूचना आयोग में मामला पहुंचने पर 30 जनवरी व 7 फरवरी 2020 के पत्रों द्वारा डीएसपी (मुख्यालय) सतीश वत्स ने चौंकाने वाली सूचनाएं दी हैं। राहगिरी कार्यक्रम के उद्देश्य व औचित्य के बारे डीएसपी (मुख्यालय) सतीश वत्स ने बताया कि इस सूचना का उनके पास कोई रिकार्ड नहीं है। यह कार्यक्रम जनता अपने तौर पर करती है, पुलिस द्वारा सिर्फ कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए ड्यूटी दी जाती है। डीजीपी कार्यालय से 23 अप्रैल* *2019 को मिले 2.30 लाख रूपये में से कोई पैसा खर्च नहीं किया गया*। *राहगिरी की संचालन कमेटी व इसके सदस्यों का भी कोई रिकार्ड उपलब्ध नहीं है। जिले में राहगिरी कार्यक्रम 16 मई 2018 से जारी है। मई 2018 से अप्रैल 2019 तक किए गए कुल 16 कार्यक्रमों में कुल करीब एक लाख लोगों के शामिल होने का दावा जिला पुलिस ने किया है। इस कार्यक्रम को करने का कोई आदेश पत्र रिकार्ड में मौजूद नहीं है।
*कपूर ने आरोप लगाया कि इन राहगिरी कार्यक्रमों में प्रशासन का एक भी पैसा खर्च नहीं होने के दावों से स्पष्ट है कि इसमें भ्रष्टाचारियों का पैसा खर्च हो रहा है। डीजीपी द्वारा भेजी गई 6.40 लाख व एसपी को मिली 2.30 लाख रूपये की राशि की जांच होनी चाहिए। जिला प्रशासन के उच्चाधिकारी अपने कुछ चहेतों, वफादारों व मोटी फीसें वसूलने वाले तीन-चार निजी स्कूलों, कालेजों से भीड़ जुटाकर नौटंकी करते हैं। इसकी एवज में ये वफादार व धना सेठ प्रशासन से नजदीकियां बढ़ाकर अपने निजी स्वार्थ पूरे करते हैं
*डीएसपी (मुख्यालय) सतीश वत्स ने अपने 30 जनवरी 2020 के पत्र द्वारा आरटीआई में बताया कि 23 अप्रैल 2019 को उन्हें 2.30 लाख रूपये ग्रांट डीजीपी कार्यालय से मिली है। दूसरी ओर डीजीपी कार्यालय ने आरटीआई में बताया कि 27 नवम्बर 2019 के पत्र द्वारा 6.40 लाख रूपये एसपी पानीपत को भेजे जा चुके हैं। आठ अप्रैल 2019 को 2.30 लाख, 8 जुलाई 2019 को 1.80 लाख व 14 अक्टूबर 2019 को 2.30 लाख रूपये की राशि एसपी पानीपत को दी गई। सवाल है कि 4.10 लाख रूपये की राशि कौन खा गया*
TEAM VOICE OF PANIPAT

Related posts

आज रात फिर देश को संबोधित करेंगे पीएम मोदी, कोरोना वायरस पर करेंगे बात

Voice of Panipat

दर्दनाक हादसा- अज्ञात वाहन ने बाइक को मारी टक्कर, 2 युवकों की मौके पर मौत

Voice of Panipat

हरियाणा के 12 जिलों में कोल्ड-डे का रेड अलर्ट जारी

Voice of Panipat