वायस ऑफ पानीपत (कुलवन्त सिंह):- हरियाणा में लगातार 3 दिनों से हो रही बारिश से अधिकांश जिलों में बाढ़ जैसे हालात हो गए हैं। सरकार लगातार तैयारियां कर रही है। हालांकि सरकार की तैयारियों को विपक्षी नेताओं ने नाकाफी बताते हुए घेरना शुरू का दिया है। विपक्षी दल के नेताओं ने आरोप लगाया है कि हरियाणा इस समय मुसीबत में है और सरकार घर बैठी हुई है।
जलभराव की समस्या पर पूर्व CM भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने चिंता जताई है। उन्होंने कहा है कि सरकार को वक्त रहते तैयारी करनी चाहिए थी। अब भी समय है सरकार को युद्ध स्तर पर काम करना चाहिए, घर बैठकर काम नहीं होगा। उन्होंने अंबाला समेत तमाम उन इलाकों को बाढ़ प्रभावित क्षेत्र घोषित करने की मांग की जहां हालात बेकाबू हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि गुरुग्राम तालाब में तब्दील हो गया, जबकि सरकार मेट्रो स्टेशन का नाम बदलने में ही व्यस्त रही।
*मुआवजे का ऐलान करे सीएम*
हुड्डा ने कहा कि बारिश की वजह से हुए नुकसान के लिए मुआवजे का ऐलान सरकार को करना चाहिए। पूरे प्रदेश से जलभराव की भयानक तस्वीरें सामने आ रही हैं। इसकी वजह से जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है। एक बार फिर बारिश ने बीजेपी-जेजेपी सरकार की व्यवस्थाओं को आइना दिखाने का काम किया है। सड़कें, गलियां, पार्क से लेकर सरकारी दफ्तर सब जलमग्न हो गए हैं।
*इन जिलों से आ रही खराब खबरें*
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि प्रदेशभर के साथ अंबाला, पंचकूला, कुरुक्षेत्र, करनाल व कैथल से भी बेहद चिंताजनक खबरें आ रही हैं। कई जगह नदियों के ओवरफ्लो होने और बांध टूटने की वजह से कई इलाकों में पानी भर गया है। इसलिए अंबाला समेत तमाम उन इलाकों को बाढ़ प्रभावित क्षेत्र घोषित किया जाए, जहां स्थिति बेकाबू है। साथ ही प्रदेश सरकार NDRF व केंद्र से ज्यादा से ज्यादा मदद मंगवाए। ताकि लोगों के जानमाल की सुरक्षा की जा सके।
*600 गांवों में भर चुका पानी*
लगातार हो रही बारिश से हरियाणा में बाढ़ जैसे हालात हो गए हैं। सबसे ज्यादा तबाही राज्य के जीटी रोड बेल्ट में हो रही है। शहरों के साथ ही यहां के 600 गांव जलमग्न हो गए हैं। होम मिनिस्टर अनिल विज का गृह जिला अंबाला 40% तक डूब चुका है। राज्य के 7 नेशनल हाईवे डूब चुके हैं। सूबे का दिल्ली, पंजाब, हिमाचल प्रदेश से संपर्क पूरी तरह से टूट गया है। इसको देखते हुए NHAI ने सफर करने वाले यात्रियों के लिए सफर नहीं करने का अलर्ट जारी किया है।
TEAM VOICE OF PANIPAT