वायस ऑफ पानीपत (देवेंद्र शर्मा)- सोनीपत की गन्नौर तहसील के बाय गांव में जीवानंद मॉडल पब्लिक स्कूल की छत गिर गई। हादसे में तीसरी, चौथी कक्षा के बच्चे,अध्यापक और छत पर मिट्टी डाल रहे मजदूर दब गए। चीख पुकार सुनकर गांव वाले मौके पर पहुंचे और मलबे में दबे बच्चों समेत 35 लोगों को बचाने की कोशिश करने लगे। इसी दौरान पुलिस को भी सूचना दी गई।
उसके बाद स्कूल प्रबंधक और बाकी अधिकारी भी मौके पर पहुंचे और रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया।आसपास के लोगों की मदद से सभी को निकाला गया। आनन-फानन में उन्हें नजदीकी सरकारी अस्पताल में ले जाया गया। जहां 28 से ज्यादा लोगों की एंट्री हुई है, 7 लोगों की हालत गंभीर देखते हुए उन्हें प्राइवेट अस्पताल में भर्ती करवाया गया है। बताया जा रहा है कि स्कूल की छत कच्ची थी। 2 दिन पहले हुई तेज बारिश के कारण वह काफी जर्जर हो चुकी थी। इसके चलते स्कूल प्रशासन छत पर मिट्टी डलवाने का काम करवा रहा था। जैसे ही मजदूरों ने मिट्टी डालनी शुरू करी, वह नीचे गिर गई
सुबह 11 बजे स्कूल के हॉल की छत पर मजदूर मिट्टी डालने का काम कर रहे थे। स्कूल के इसी हॉल में तीसरी और चौथी कक्षा के बच्चे पढ़ते हैं। बच्चे स्कूल के कैंपस में पेपर दे रहे थे। परीक्षा खत्म होने के बाद क्लास में अपना बैग उठाने के लिए गए थे।क्लास रूम में अध्यापक भी थे। इसी दौरान अचानक छत गिर गई और बच्चे, अध्यापक और मजदूर दब गए। अचानक से छत गिरने से जोर का धमाका हुआ।
बच्चों को स्कूल की बस से सरकारी अस्पताल पहुंचाया गया। जहां उनके रोने की आवाज गूंजती रही। 25 से ज्यादा बच्चों के सिर में गंभीर चोट आई है। करीब सभी घायल बच्चों के सिर पर टांके लगे हैं। वहीं मजदूर और अध्यापकों को भी गंभीर चोटें आई हैं। सूचना मिलते ही उनके परिवार वाले भी पहले स्कूल पहुंचे और फिर उसके बाद अस्पताल गए। मामले की गंभीरता को देखते हुए CMO भी तत्काल अस्पताल पहुंचे और स्टाफ को घायलों का बेहतर इलाज करने के बारे में दिशा निर्देश दिए। हादसे के बाद स्कूल की छुट्टी कर दी गई है। स्कूल में पढ़ रहे बाकी सभी बच्चों को स्कूल की ही बस से घर छुड़वाया गया। साथ ही सभी बच्चों के अभिभावकों को मैसेज करके हादसे के बारे में सूचित भी किया गया। वहीं सोनीपत के जिला शिक्षा अधिकारियों ने हादसे की रिपोर्ट तलब की है।
TEAM VOICE OF PANIPAT