वायस ऑफ पानीपत (सोनम गुप्ता):- हरियाणा में IPS ऑफिसर के प्रमोशन का रास्ता साफ हो गया है.. एडवोकेट जनरल की राय मिलने के बाद CM मनोहर लाल ने मुख्य सचिव संजीव कौशल को डिपार्टमेंटल प्रमोशन कमेटी बनाने की मंजूरी दे दी.. इसके बाद 1991 के बेच IPS ऑफिसर्स को सबसे ज्यादा राहत मिलेगी.. दरअसल प्रमोशन को लेकर गृह मंत्री अनिल विज ने पहले इस फाइल पर गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव टीवीएसएन प्रसाद से कई सवाल पूछे थे.. उसके बाद नियमों का हवाला देते हुए.. एडवोकेट जनरल की राय लेने की सिफारिश की थी..गृह मंत्री ने एडवोकेट जनरल से राय मांग ली.. अब एडवोकेट जनरल की राय दी कि सरकार नियमों के तहत प्रमोशन करने के लिए अधिकृत है। इस राय के बाद विज ने फाइल मुख्यमंत्री के पास भेजी थी।
हरियाणा में इस समय 1991 बैच के आलोक कुमार राय और एसके जैन को DGP रैंक में प्रमोट होना है। इसी तरह 1997 बैच के अमिताभ ढिल्लों और संजय कुमार को डीजीपी रैंक, 2006 बैच के शशांक आनंद, अश्विन शेणवी, डॉ. अरुण सिंह, अशोक कुमार, ओमप्रकाश को आईजी और 2010 बैच के सुलोचना गजराज, संगीता कालिया, राजेश दुग्गल और सुरेंद्र पाल सिंह को डीआईजी रैंक में प्रमोशन होनी है। विवाद के कारण ये सभी पदोन्नति रुकी हुई हैं। हालांकि 1996 बैच के आईपीएस अफसरों को एडीजीपी रैंक में प्रमोशन दी जा चुकी है मगर उन्हें सिर्फ रैंक मिला है, वेतनमान नहीं मिला है ।
हरियाणा IPS कैडर में मंजूर पदों से ज्यादा अफसरों को DGP-ADGP रैंक में प्रमोट किए जाने के मामले में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने भी प्रदेश सरकार को पत्र लिखे हुए हैं। प्रमोशन करने के लिए विभागीय समिति की बैठक बुलाने से पहले केंद्रीय गृह मंत्रालय से पूर्व सहमति लेनी जरूरी होती है। अभी भी अगर विभागीय समिति की बैठक में एजेंडा भेजा गया तो उससे पहले केंद्रीय गृह मंत्रालय से सहमति लेनी जरूरी होगी अन्यथा इसमें फिर विवाद खड़ा हो जाएगा।
TEAM VOICE OF PANIPAT