वायस ऑफ पानीपत (शालू मौर्या):- हरियाणा सरकार लिंगानुपात को लेकर गंभीर हो गई है.. स्वास्थ्य मंत्री आरती राव ने गर्भधारण पूर्व एवं प्रसव पूर्व निदान तकनीक अधिनियम को और अधिक सख्त बनाने तथा लिंगानुपात में गिरावट को रोकने के लिए निर्णायक कदम उठाया है.. इसके तहत स्वास्थय विभाग हरियाणा पुलिस शत्रुजीत कपूर को जल्द ही पत्र लिखकर प्रत्येक जिले में डीएसपी रैंक के अधिकारियों के नेतृत्व में पुलिस सेल के गठन की मांग करेगा.. इन विशेष इकाइयों की छापेमारी करने, एफआईआर दर्ज करने तथा अवैध लिंग निर्धारण और कन्या भ्रूण हत्या नेटवर्क का पर्दाफाश करने के लिए फर्जी ग्राहक भेजने का विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा..
*कन्या भ्रूण हत्या पर नकेल लगेगी*
डीएसपी स्तर के अधिकारियों के नेतृत्व वाली विशेष इकाइयों को छापेमारी करने, एफआईआर दर्ज करने तथा अवैध लिंग निर्धारण और कन्या भ्रूण हत्या नेटवर्क का पर्दाफाश करने के लिए फर्जी व्यक्ति भेजने का प्रशिक्षण दिया जाएगा.. यह निर्णय अतिरिक्त मुख्य सचिव (स्वास्थ्य) सुधीर राजपाल की अध्यक्षता में राज्य टास्क फोर्स (STF) की मीटिंग के दौरान लिया गया.. मीटिंग में पुलिस विभाग के प्रतिनिधि भी शामिल हुए.. लेकिन स्वास्थ्य अधिकारियों ने ऑपरेशन के दौरान विशेष और निरंतर सहायता की आवश्यकता पर जोर दिया..
*अभी छापे के दौरान पुलिस पर निर्भर*
स्वास्थ्य विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, विचार यह है कि एक ऐसी टीम बनाई जाए जिसे छापे मारने के लिए विशेष रूप से प्रशिक्षित किया जा सके..वर्तमान में, जब भी हम छापे मारने जाते हैं तो सहायता के लिए हम जिला पुलिस पर निर्भर रहते हैं.. चूंकि टीमें बदलती रहती हैं, इसलिए यह थोड़ा चुनौतीपूर्ण हो जाता है।”सतर्कता बढ़ाने के लिए मेडिकल टर्मिनेशन ऑफ प्रेग्नेंसी (MTP) के मामलों का रैंडम सत्यापन किया जाएगा.. अब किसी भी एमटीपी के लिए 12 सप्ताह पर अल्ट्रासाउंड अनिवार्य कर दिया गया है.. एमटीपी को सही ठहराने वाली रिपोर्ट को पहले जिला स्तर पर सत्यापित किया जाएगा और फिर मुख्यालय द्वारा रैंडम तरीके से दोबारा जांच की जाएगी..
TEAM VOICE OF PANIPAT