वायस ऑफ पानीपत (सोनम गुप्ता):- हरियाणा में 3 दिन तक कूड़े का उठान नहीं हो सकेगा.. सरकार की वादाखिलाफी के खिलाफ प्रदेश के 11 हजार ग्रामीण सफाई कर्मचारी 10 अक्टूबर से 3 दिवसीय राज्यव्यापी हड़ताल पर रहेंगे.. इस हड़ताल को सफल बनाने के लिए सीटू से संबंधित ग्रामीण सफाई कर्मचारी यूनियन हरियाणा ने कमर कस ली है.. यूनियन नेताओं ने कहा कि 26000 रुपए मासिक वेतन, बीडीपीओ के पे-रोल पर लेने, 400 की आबादी पर एक कर्मचारी लगाने, वेतन को महंगाई के साथ जोड़ने, सहमति अनुसार काम के औजार ब्लॉक का वार्षिक भत्ता देने, धुलाई भत्ता भुगतान करने एवं वेतन बढ़ोतरी के साथ वार्षिक बढ़ोतरी का लाभ तथा 17 साल से निरंतर काम करने वाले ग्रामीण सफाई कर्मियों को स्थायी कर्मचारी का दर्जा देने की मांग को लेकर लगातार आंदोलनरत हैं.. लेकिन भाजपा-जजपा इन दलित सफाई कर्मियों की आवाज़ सुनने की बजाय शोषण करने में ही व्यस्त है..
आपको बता दे कि यूनियन के महासचिव विनोद कुमार ने कहा कि 20 अगस्त 2022, 9 सितंबर 2022, 26 दिसंबर 2022 तथा 28 जून 2023 को चार दौर की वार्ता पंचायत मंत्री देवेंद्र सिंह बबली के साथ हो चुकी हैं.. मंत्री ने हर बार समाधान का आश्वासन दिया, लेकिन आज तक भी ग्रामीण सफाई कर्मियों की मांगों और समस्याओं का कोई समाधान नहीं हुआ.. मजबूरी में सफाई कर्मचारियों को हड़ताल के लिए बाध्य होना पड़ रहा है..
वहीं विनोद कुमार ने बताया कि 23 जनवरी को विकास एवं पंचायत विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव की अध्यक्षता में अधिकारियों और यूनियन प्रतिनिधियों के बीच हुई वार्ता में वेतन बढ़ोत्तरी, सालाना वेतन में 3 प्रतिशत बढ़ोत्तरी, मासिक वर्दी धुलाई भत्ता देने और काम के औजार का भत्ता देने की सहमति बन चुकी और पिछली 17 अप्रैल से ये फाइल मुख्यमंत्री की टेबल पर मंजूरी के लिए पड़ी हैं.. जिसको मुख्यमंत्री ने खुद लटकाकर रखा हुआ है.. इससे जाहिर हो चुका है कि भाजपा-जजपा गठबंधन की ये सरकार ग्रामीण सफाई कर्मचारियों की मांगों का समाधान नहीं करना चाहती..
TEAM VOICE OF PANIPAT